नई दिल्ली: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी आतंकवाद और पाकिस्तान के प्रति भारत के रुख को वैश्विक स्तर पर स्पष्ट किया और कहा कि पाकिस्तान के हर गोली का जवाब भारत गोले से देगा और कश्मीर मसले पर भारत किसी भी तरह की मध्यस्थता को स्वीकार नहीं करता है और भविष्य में भी नहीं करेगा। साथ ही अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के उस बयान पर भी विराम लगा दिया, जिसमें ट्रंप ने ट्रेड डील के नाम पर भारत-पाकिस्तान में सीजफायर की बात कही थी। ऑपरेशन सिंदूर अभी खत्म नहीं हुआ है यह जारी है और किसी भी आतंकी घटना को भारत युद्ध मान कर कार्रवाई करेगा।
जी 7 की बैठक में भाग लेने कनाडा गए भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप की आउटरीच बातचीत होनी थी लेकिन ट्रंप सम्मेलन के बीच में ही कनाडा छोड़ कर अमेरिका लौट गए थे। ऐसे में डोनाल्ड ट्रंप के आग्रह पर पीएम मोदी और ट्रंप के बीच फोन पर 35 मिनट तक बातचीत हुई। दोनों नेताओं के बीच पहलगाम हमले के बाद भारत की ओर से शुरू किए गए ऑपरेशन सिंदूर के बाद पहली बातचीत हुई।
22 अप्रैल को पहलगाम में हुए आतंकी हमले के बाद अमेरिकी राष्ट्रपति ट्रंप ने फोन पर प्रधानमंत्री मोदी को शोक संवेदना प्रकट की थी और आतंक खिलाफ समर्थन व्यक्त किया था। यही वजह है कि पीएम मोदी और ट्रंप के बीच जब बातचीत हुई तो राष्ट्रपति ट्रंप को ऑपरेशन सिंदूर पर विस्तार से बातचीत की। पीएम मोदी ने राष्ट्रपति ट्रंप को स्पष्ट रूप से कहा कि 22 अप्रैल के बाद भारत ने आतंकवाद के खिलाफ कार्रवाई करने का अपना दृढ़ संकल्प पूरी दुनिया को बता दिया था।
आतंकी ठिकानों को बनाया निशाना
प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि 6-7 मई की रात को भारत ने पाकिस्तान और पाकिस्तान अधिकृत कश्मीर में सिर्फ आतंकी ठिकानों को ही निशाना बनाया था। भारत के एक्शन बहुत ही सटीक थे। साथ ही, भारत ने यह भी स्पष्ट कर दिया था, कि पाकिस्तान की गोली का जवाब भारत गोले से देगा और भारत ने फिर ऐसा ही किया।
भारत के हमले के बाद 9 मई की रात अमेरिका के उपराष्ट्रपति वेंस ने पीएम मोदी को फोन किया था कहा कि पाकिस्तार भारत पर बड़ा हमला कर सकता है तब भी भारत ने साफ शब्दों में कहा कि यदि ऐसा होता है तो भारत पाकिस्तान पर उससे भी बड़ा जवाब देगा। 9-10 मई की रात को पाकिस्तान के हमले का भारत ने बहुत सशक्त जवाब दिया और पाकिस्तान की सेना को बहुत नुकसान पहुंचाया।
उसके मिलिटरी एयरबेसस को ऑपरेशन लायक नहीं रहने दिया। भारत के मुहतोड़ जवाब के कारण पाकिस्तान को भारत से सैन्य कारवाई रोकने का आग्रह करना पड़ा।
पीएम मोदी की ट्रंप को दो टूक
प्रधानमंत्री मोदी ने राष्ट्रपति ट्रंप को स्पष्ट रूप से कहा कि इस पूरे घटनाक्रम के दौरान कभी भी, किसी भी स्तर पर, भारत-अमेरिका ट्रेड डील या अमेरिका द्वारा भारत और पाकिस्तान के बीच मध्यस्थता जैसे विषयों पर बात नहीं हुई थी। सैन्य कार्रवाई रोकने की बात सीधे भारत और पाकिस्तान के बीच, दोनों सेनाओं की वर्तमान चैनल के माध्यम से हुई थी, और पाकिस्तान के ही आग्रह पर हुई थी। पीएम मोदी ने जोर दे कर कहा कि भारत ने न तो कभी मध्यस्थता स्वीकार की थी, न करता है, और न ही कभी करेगा। इस विषय पर भारत में पूर्ण रूप से राजनैतिक एकमत है। भारत अब आतंकवाद को प्रॉक्सी वार नहीं, युद्ध के रूप में ही देखता है और भारत का ऑपरेशन सिंदूर अभी भी जारी है।
पीएम मोदी ने अमेरिका जाने से मना किया
अमेरिकी राष्ट्रपति ट्रंप ने प्रधानमंत्री मोदी से पूछा कि क्या वे कनाडा से वापसी में अमेरिका रूक कर जा सकते हैं। इस पर पीएम मोदी ने पूर्व-निर्धारित कार्यक्रमों के कारण, अपनी असमर्थता व्यक्त की। दोनों लीडर्स ने तब तय किया कि वे निकट भविष्य में मिलने का प्रयास करेंगे।
इजरायल-ईरान संघर्ष पर हुई बात
अमेरिकी राष्ट्रपति ट्रंप और प्रधानमंत्री मोदी के बीच इजरायल-ईरान के बीच चल रहे संघर्ष पर भी चर्चा हुई। रूस-यूक्रेन युद्ध के संबंध में दोनों नेताओं ने सहमति जताई कि जल्द से जल्द शांति के लिए, दोनों पक्षों में सीधी बातचीत होनी चाहिए और इसके लिए प्रयास करते रहना चाहिए। इंडो-पैसिफिक क्षेत्र के संबंध में दोनों नेताओं ने अपने पक्ष साझा किए और इस क्षेत्र में QUAD की अहम भूमिका के प्रति समर्थन जताया।
QUAD में शामिल होंगे ट्रंप
भारत में 2025 में आयोजित होने वाले QUAD की अगली बैठक के लिए, प्रधानमंत्री मोदी ने राष्ट्रपति ट्रंप को भारत आने का निमंत्रण दिया। राष्ट्रपति ट्रंप ने निमंत्रण स्वीकार करते हुए कहा कि वे भारत आने के लिए उत्सुक हैं।