नई दिल्ली: कोरोना वायरस एक बार फिर तेजी से देश भर में अपने पैर पसार रहा है। गनीमत इतनी भर है कि अभी इसके गंभीर होने की बात सामने नहीं आई है। चिकित्सकों का भी कहना है कि घबराने की नहीं, सभी को एहतियात बरतने की जरूरत है। उधर, आंकड़ों के हिसाब से देश में 63 फीसदी से ज्यादा कोरोना मरीज सिर्फ केरल और महाराष्ट्र में पंजीकृत किए गए हैं। सरकारी रिकॉर्ड के अनुसार अभी तक इस वर्ष कोरोना से पांच मरीजों की मौत भी सामने आई है।
केंद्रीय स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्रालय की रिपोर्ट के अनुसार, देश में 27 मई को जारी रिपोर्ट के मुताबिक कोरोना के 1010 मामले पंजीकृत हुए हैं। इसमें केरल में सबसे ज्यादा 430 और इसके बाद महाराष्ट्र में 210 केस पंजीकृत हुए हैं। इसके अलावा दिल्ली में 104 और गुजरात में 83 मरीज पंजीकृत किए गए हैं। तीन राज्यों में कोरोना के मरीजों की मौत भी हुई है। इसमें महाराष्ट्र में तीन, केरल में दो और कर्नाटक में एक मरीज की मौत कोविड 19 से हुई है। अंदेशा है कि आने वाले समय में कोरोना मामलों की संख्या में इजाफा होगा। जैसे-जैसे कोरोना वायरस की जांच का दायरा बढ़ेगा, वैसे-वैसे मरीजों की संख्या भी ज्यादा पंजीकृत होगी।
कोरोना वायरस में वृद्धि की वजह से कोरोना का नया वैरिएंट JN.1 है। यह ओमिक्रॉन वैरिएंट का ही सब-वैरिएंट है, जो भारत में पहले से ही मौजूद है। अब कुछ और वैरिएंट भी सामने आ रहे हैं। इसकी जांच चल रही है। इंडियन काउंसिल ऑफ मेडिकल रिसर्च (आईसीएमआर) के महानिदेशक डॉ. राजीव बहल ने बताया, मामलों में वृद्धि के पीछे के कारणों का पता लगाने के लिए निगरानी चल रही है। अभी तक जो चार वैरिएंट मिले हैं वह ओमिक्रॉन के ही सब वैरिएंट हैं। अभी तक LF.7, XFG, JN.1 और NB.1.8.1 मिले हैं। आगे की पड़ताल के लिए जीनोम सिक्वेसिंग की जा रही है जिससे वायरस की गंभीरता या किसी नए वैरिएंट की जानकारी मिलेगी।