नई दिल्ली: चुनाव आयोग मतदान को मोबाइल सेवी बनाने जा रहा है। इसमें मतदान केंद्र तक अब मोबाइल ले जाने की इजाजत होगी। हां, इस दौरान मोबाइल स्विच ऑफ रहेगा। मतदान केंद्र के ठीक प्रवेश द्वार पर मोबाइल जमा कराने की सुविधा भी होगी।
चुनाव आयोग की तरफ से जारी दिशा-निर्देश के तहत वोटर अब 100 मीटर के भीतर स्विच ऑफ कर मोबाइल ले जा सकेगा। मतदान केंद्र के प्रवेश द्वार के नजदीक उसको लकड़ी के बॉक्स या जूट के बैग दिए जाएंगे। वहां वह अपने मोबाइल जमा करा देगा। मतदान केंद्र के अंदर मोबाइल फोन ले जाने की अनुमति नहीं होगी।
हालांकि, रिटर्निंग अधिकारी स्थानीय परिस्थिति को देखने के बाद अगर जरूरत समझता है तो कुछ मतदान केंद्रों पर इस प्रावधान से भी दे सकता है। इस दौरान मतदान केंद्र के भीतर मतदान की गोपनीयता सुनिश्चित करने वाले चुनाव संचालन नियम का सख्ती से पालन होगा।
असल में जिस तरह से शहर के साथ ग्रामीण इलाकों में भी मोबाइल का इस्तेमाल बढ़ा है, उसमें मतदान केंद्र पर बड़ी परेशानी होती है। जो लोग मोबाइल लेकर वहां तक पहुंच जाते हैं, उनके लिए उसे बाहर रखना मुश्किल हो जाता है। वरिष्ठ नागरिकों, महिलाओं और दिव्यांग मतदाताओं को खासतौर से परेशानी होती है। इसमें कई बार वोटर महंगे मोबाइल की कीमत पर वह अंदर नहीं जाना चाहते। मतदान के दिन मोबाइल प्रबंधन में आने वाली इन चुनौतियों को देखते हुए चुनाव आयोग ने मतदान केंद्रों के ठीक बाहर मोबाइल जमा करने की सुविधा देने का फैसला किया है।
मतदान केंद्र 100 मीटर में प्रचार नहीं
चुनाव के दिन सुविधा में सुधार के मकसद से आयोग ने चुनावी कानूनों के अनुरूप प्रचार के लिए स्वीकार्य मानदंडों को मतदान केंद्र के प्रवेश द्वार से 100 मीटर की दूरी तक तर्कसंगत बनाया है। हालांकि, मतदान के दिन मतदान केंद्र के आसपास 100 मीटर के दायरे में चुनाव प्रचार की अनुमति नहीं होगी। अगर मतदाता आयोग की तरफ से जारी आधिकारिक मतदाता सूचना पर्ची नहीं ले जा रहे हैं, तो मतदाताओं को अनौपचारिक पहचान पर्ची जारी की जाएगी। इसके लिए उम्मीदवारों के बूथ पर जाया जा सकेगा। उम्मीदवार इसे मतदान केंद्र से 100 मीटर के दायरे से बाहर लगा सकते हैं।